Wednesday, March 25, 2020


भारत में जो कुछ भी हो रहा है, उसे वैश्विक परिप्रेक्ष्य में भी देखने की ज़रूरत है ! पूरी दुनिया में यह धुर-दक्षिणपंथी राजनीति के उभार का एक नया दौर है !

ब्राज़ील का अमेरिका-समर्थित जालिम और हत्यारा राष्ट्रपति बोलसेनारो इस बार भारत के गणतंत्र दिवस का मुख्य अतिथि था !

इतिहास में पहली बार संयुक्त राष्ट्रसंघ में भारत ने इस्राएल के समर्थन और फिलिस्तीन के विरोध में अपना मत दिया है ! वह भी ऐसे समय में जब इस्राएल चौतरफा घेरेबंदी करके गाज़ा पर फिर से धुंआधार बमबारी कर रहा है !

म्यांमार में सरकार ने रोहिंग्या मुसलमानों के सफाए और भगाने की खूनी मुहिम को आख़िरी अंजाम तक पहुंचाने का काम शुरू कर दिया है !

बांग्लादेशी विस्थापितों के प्रति भारत सरकार के रुख को देखते हुए वहाँ के कट्टरपंथियों ने हसीना सरकार पर अपना दबाव बढ़ा दिया है और वहाँ एकबार फिर भारत-विरोधी लहर उफान पर है !

भारत आकर जो प्यारे डोलांड भाई अपने विवेका मुंडनजी से भरत-मिलाप करके वापस गए हैं, उनकी अफगानिस्तान में तालिबान से वार्ता समापन की ओर है ! अफगानिस्तान में तालिबान के सत्ता में आते ही पाकिस्तानी राजनीति में भी कट्टरपंथी हावी हो जायेंगे और फिर कश्मीर में भी पाकिस्तान-समर्थित आतंकवादियों की सरगर्मियां तेज़ हो जायेंगी ! मोदी सरकार इसका लाभ उठाकर अंध-राष्ट्रवादी लहर को और अधिक हवा देगी और हिन्दू-मुस्लिम ध्रुवीकरण की मुहिम भी तेज़ कर दी जायेगी !

मध्य-पूर्व सहित पूरी दुनिया में युद्धों और गृहयुद्धों का नया विनाशकारी चक्र शुरू होगा ! हथियारों की बिक्री खूब बढ़ जायेगी ! तेल की कीमतें आसमान छूने लगेंगी और लोगों पर मंहगाई कहर की तरह टूटेगी !

(29फरवरी, 2020)

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