Tuesday, March 13, 2018

नीरव मोदी इसलिए है क्योंकि......




नीरव मोदी इसलिए है क्योंकि नीरो मोदी है। यूँ तो पूँजी के साम्राज्य में नीरव मोदी हमेशा से होते आये हैं, पर नीरो मोदी की बात ही और है। एक नीरो मोदी होगा तो सालाना सैकड़ों नीरव मोदी पैदा होते रहेंगे। मगरमच्छों से भरी नदी में ये तो सिर्फ छोटे घड़ियाल हैं।
यह नीरो बर्बरता भरी सनक और वहशीपन के मामले में रोम वाले नीरो का दादा है।
अवाम लूटा-खसोटा और निचोड़ा जा रहा है। देश एक तबाही के ज्वालामुखी के दहाने की ओर लुढ़कता जा रहा है I और नीरो बाँसुरी बजा रहा है, एक से एक भड़कीली पोशाकें बदल रहा है, डायलॉग मार रहा है और उड़न खटोला पर उड़ानें भर रहा है I कभी भी पूरे देश में वैसी ही आग लगाई जा सकती है जैसी 2002 में गुजरात में लगाई गयी थी I तब नीरो खूब मस्त और मगन होकर अपनी बाँसुरी बजायेगा।
आज का नीरो जब अपनी बाँसुरी बजाता है, नीरव रात्रि में पूँजी अपना खूनी खेल और अधिक बर्बर, लेकिन नीरव ढंग से खेलने के लिए सड़कों पर निकल पड़ती है।
11 मार्च, 2018

No comments:

Post a Comment