Friday, November 18, 2022

हमारे समय की कविता

हमारे समय की कविता

अधिकतर युवा कवियों की 

कविता ने

पहन रखे हैं

प्यार के बरसाती जूते

और सड़कों पर बहते ख़ून में

छप्प-छप्प करते हुए

भटक रही हैI

अधिकतर बूढ़े कवियों की कविता की चप्पलें 

सत्ताधारियों के गू में

सनी हुई हैंI

***

(18 Nov 2022)




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